
नई दिल्ली। भारत सरकार के वित्तीय सेवा विभाग के सचिव एम नागराजू ने प्रधानमंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) खाताधारकों केलिए अपने ग्राहक को जानिए यानी पुनः केवाईसी प्रक्रिया लागू करने केलिए हितधारकों केसाथ बैठक की। ज्ञातव्य हैकि पीएमजेडीवाई को 2014 में लॉंच किया गया था और अगस्त 2014 से दिसंबर 2014 की अवधि के दौरान मिशन मोड में लगभग 10.5 करोड़ पीएमजेडीवाई खाते खोले गए थे। पीएमजेडीवाई खातों का अब 10 वर्ष केबाद आवधिक अद्यतन यानी पुनः केवाईसी होगा। सचिव एम नागराजू ने पुनः केवाईसी केलिए एटीएम, मोबाइल बैंकिंग, इंटरनेट बैंकिंग और अन्य उपलब्ध डिजिटल चैनलों के माध्यम से फिंगरप्रिंट, चेहरे की पहचान, केवाईसी दस्तावेजों में कोई बदलाव न होने पर घोषणा पत्र लेना आदि का उपयोग करने का सुझाव दिया है। उन्होंने कहाकि बैंकों को अन्य सहकर्मी बैंकों की सर्वोत्तम प्रथाओं को लागू करने केलिए भी तत्पर रहना चाहिए।
सचिव एम नागराजू ने इस बात पर जोर दियाकि राज्यस्तरीय बैंकर्स समिति एसएलबीसी/ यूटीएलबीसी केसाथ-साथ अग्रणी जिला प्रबंधकों की भूमिका महत्वपूर्ण है और उन्हें अभियान के रूपमें पुनः केवाईसी कराने केलिए लोगों को प्रेरित करने में राज्य, जिला प्रशासन या ग्राम पंचायतों की सहायता लेनी चाहिए। एम नागराजू ने बैंकों से आग्रह कियाकि वे पीएमजेडीवाई योजना के शुभारंभ के दौरान दिखाए गए उत्साह केसाथ ही यह कार्य भी करें और ग्राहकों को किसीभी असुविधा से बचाने केलिए री-केवाईसी को मिशन मोड में पूरा करें। उन्होंने बैंकों को निर्देश दिया हैकि वे समयबद्ध तरीके से री-केवाईसी केलिए जहां भी आवश्यक हो, अतिरिक्त कर्मचारियों को तैनात करें।